भूकम्प क्या है?(Bhukamp kya hai?)
भूकंप एक प्राकृतिक घटना है,जो दसियो आ रहा है और आता भी रहेगा। भूकंप आमतौर पर पृथ्वी की धरातल के नीचे टेक्टोनिक प्लेटों के गतिविधि के कारण होता है। जब ये प्लेट आपस में रगड़ते हैं,या एक दूसरे के पास या दूर जाती है,तो सम्पीड़न या तनाव का निर्माण कर सकते हैं I
जब तनाव बहुत बड़ा हो जाता है, पृथ्वी के अंदर से ऊर्जा का अचानक मुक्त होने लगती है। इस ऊर्जा के कारण भूमि कम्पन होने लगता है और हम लोगो को महसूस होने लगता है की भूकंप आ गया I
भूकंप भिन्न आकार के हो सकते हैं, छोटे कंपन से लेकर बड़े कंपनों तक,जो इमारतों,बुनियादी संरचनाओं और मानव जीवन पर बड़ा प्रभाव डाल सकते हैं। अधिकतम भूकम्प पृथ्वी के क्रस्ट से ही आता है,पृथ्वी के मेंटल से बहुत कम भूकम्प आया है अभी तक ।
भूकम्प कैसे आता है?(Bhukamp kaise aata hai?)
जब पृथ्वी के अंदर किसी भी तरह का कोई हलचल (टूटना,दोष, प्लेटों का या तो निकट या दूर खिसकना) होता है, तो बहुत सारी Heat (लगभग 70%आग) और Strain Energy ( लगभग 30%ऊर्जा ) उत्सर्जित होती है I
चुकि Heat (आग ) को कोई माध्यम नहीं मिल पाता है, मूव करने के लिए और ऊर्जा (Energy) चुंबकीय तरंग (Magnetic Wave) के रूप में बदल के सभी दिशाओ में मूव होने लगती है, और जो चुंबकीय तरंग (Magnetic Wave) अर्थ की अलग-अलग परतें, द्वारा पास होते हुए, अर्थ के सबसे ऊपरी परत पे जितनी ऊर्जा के साथ पहुँचती है, उसी के साथ पृथ्वी को कंपन कराती है दुसरे सब्दों में कहा जाए तो उपद्रव मचती है I
भूकंप से संबंधित बुनियादी शब्दावली(Basic Terminology Related to Earthquake)
भूकम्प(Bhukamp) के करण जानने से पहले कुछ शब्दावली की परिभाषा जानना जरूरी है।
हाइपोसेंटर(Hypocentre)/Focus(केंद्र):
हाइपोसेंटर जिसे फोकस भी कहा जाता है, भूकंप विज्ञान में एक पॉइंट है जो पृथ्वी के अंदर उस स्थान का संकेत करता है जहां भूकंप की उत्पत्ति होती है।यह वास्तविक जगह है जहां भूसंचारी ऊर्जा मुक्त होती है और चट्टानों में दरारें पड़ जाती हैं।
Epicentre:( उपरिकेंद्र):
जिसे उपरिकेंद्र भी कहा जाता है, भूकंप विज्ञान में एक शब्द है जो एक भूकंप के फोकस के सीधे ऊपरी सतह पर स्थिति को संकेत करता है। यह स्थान है जहां भूकंपीय तरंगे सबसे अधिक प्रभावी होती हैं और जहां भूकंप के प्रभाव, जैसे हिलन और क्षति, सामान्यतः सबसे तेज होते हैं।
फोकल गहराई (Focal Depth ):
यह फोकस और उपकेंद्र के बीच की न्यूनतम न्यूनतम ऊर्ध्वाधर दूरी है
भूकंपीय तरंगें (Seismic Wave):
भूकंपीय तरंगें भी एक तरह की वेव होती है जो भूकंप के दौरान उत्पन होती है I चुकि भूकंप के दौरान पृथ्वी के हीट और स्ट्रेन एनर्जी का उत्सर्जन होता है चुकि हीट को कोई मध्यम नही मिल पाती है जबकि स्ट्रेन एनर्जी चुम्बकीय तरंग के फॉर्म में कन्वर्ट हो कर सभी दिसावो में मूव करने लगती है I भूकंपीय तरंगें मुख्य रूप से दो प्रकार की होती हैं: बोडी तरंगें और सतही तरंगें।
Body Wave(बॉडी वेव ):
जो magnetic वेव अर्थ के अंदर बॉडी में मूव करता है उसे बॉडी वेव कहते है बॉडी वेव दो टाइप की होती है पी वेव और एस वेव I पी वेव की वेलोसिटी एस वेव अधिक होती है I
सरफेस वेव (Surface Wave):
जो वेव अर्थ के सरफेस पे मूव करती है उसे सरफेस वेव्स कहते है ये दो टाइप्स की होती है एक लव वेव और दूसरा Rayleigh वेव होती है I Rayleigh वेव लव वेव से अधिक खतरनाक होती है I
आइसोसेस्मल रेखा ( Isoseismal Line ):
सामान तीब्रता की भूकंप को मिलाने वाली लाइन को इसोसिस्मल लाइन कहते है इस लाइन पे पड़ने वाले सब भूकंप की तीब्रता सामान होती है Iये रेखाएं भूकंप के प्रभाव की वितरण और प्रभाव की सीमा को दर्शाने में मदद करती हैं।
आइसोसेस्मल रेखाएं भूकंप के अनुभव करने वाले लोगों की रिपोर्ट और अवलोकन के आधार पर तैयार की जाती हैं। इन रिपोर्ट्स में हिलने के स्तर, इमारतों के क्षति, और अन्य प्रभावों की जानकारी शामिल होती है। इन रिपोर्ट्स का विश्लेषण करके, वैज्ञानिक लोग वहाँ के क्षेत्रों का पता लगा सकते हैं जहाँ भूकंप की तीव्रता एक जैसी थी।
भ्रंश (Fault): इसमें धरातल पर पत्थरों के टूटने या विचलित हो जाने की स्थिति होती है, जिसमें दोनों ओर के पत्थरों में एक दूसरे के प्रति गतिशीलता होती है। ये टूटे हुए स्थान भूकंप(bhukamp) में उत्पन्न होते हैंI
भूकंप क्यों आता है ?(Bhukamp kyo Aata hai?)
टेक्टोनिक प्लेट हलचलें(Tectonic Plate Theory):
भूकंप(bhukamp) मुख्य रूप से टेक्टोनिक प्लेटों की गति के कारण होते हैं। पृथ्वी की पपड़ी(Crust) कई बड़ी प्लेटों में विभाजित है जो लगातार गतिमान रहती हैं।जब ये प्लेटें अपनी सीमाओं पर परस्पर क्रिया करती हैं, जैसे कि टकराना, एक-दूसरे से फिसलना, या अलग होना, तो इसके परिणामस्वरूप अत्यधिक दबाव और तनाव उत्पन्न हो सकता है।अंततः यह संचित तनाव भूकंप(bhukamp) के रूप में सामने आता है।
सबडक्शन जोन (Subduction Zones):
सबडक्शन जोन वे क्षेत्र होते हैं जहां एक टेक्टोनिक प्लेट दूसरी प्लेट के नीचे दब जाती है। ये क्षेत्र आमतौर पर समुद्री और महाद्वीपीय प्लेटों की सीमाओं के पास पाए जाते हैं। जैसे ही सघन समुद्री प्लेट मेंटल में डूबती है, यह तीव्र दबाव उत्पन्न करती है और शक्तिशाली भूकंप का कारण बन सकती है।पैसिफ़िक रिंग ऑफ़ फ़ायर एक ऐसा क्षेत्र है जो अपने सबडक्शन ज़ोन भूकंपों के लिए जाना जाता है।
ज्वालामुखी गतिविधि (Volcanic Activity):
ज्वालामुखी विस्फोट से भूकंप(bhukamp) आ सकते हैं। जब मैग्मा सतह पर उठता है, तो यह आसपास की चट्टानों में दरार और फ्रैक्चर का कारण बन सकता है, जिसके परिणामस्वरूप भूकंपीय गतिविधि हो सकती है। इसके अतिरिक्त, ज्वालामुखीय संरचनाओं का ढहना या ज्वालामुखी के भीतर मैग्मा की हलचल भी भूकंप(bhukamp) को प्रेरित कर सकती है।
मानव-प्रेरित कारण(Manmade Reasons):
कुछ मामलों में, मानवीय गतिविधियाँ भूकंप में योगदान कर सकती हैं। खनन, जलाशय(Reservoir)-प्रेरित भूकंपीयता (बड़े जलाशयों के भरने के कारण), हाइड्रोलिक संरचना (Hydraulics Structure),और भूतापीय ऊर्जा(Thermal Power Project) निष्कर्षण जैसी गतिविधियाँ भूकंपीय गतिविधि को प्रेरित करने के लिए जानी जाती हैं। हालाँकि ये प्रेरित भूकंप (bhukamp)आम तौर पर कम तीव्रता के होते हैं,
लेकिन ये पृथ्वी की पपड़ी(Crust) पर मानवीय कार्यों के प्रभाव को उजागर करते हैं।
भूकंप के प्रकार (Types of Earthquake):
प्लेट थ्योरी के हिसाब से भूकंप दो टाइप्स के होते है
Interplate Theory:
इस थ्योरी से अनुसार जब दो प्लेटे आपस में टकराते है तो जो भूकंप (bhukamp)पैदा होता है उसे Intrerplate Earthquake कहते है i ये भूकंप प्लेट के बाउंड्री से आती है I The Great Chili Earthquake interplate earthquake का example है I
Intraplate Earthquake:
प्लेट टेकटोनिक थ्योरी के अनुसार, जब किसी प्लेट के अन्दर से भूकंप (bhukamp)आता है तो उसे Intraplate earthquake कहते है जैसे महारास्ट्र का लातूर भूकंप intraplate earthquake का Example है I
निष्कर्ष (Conclusion):
भूकंप(bhukamp) के कारणों को समझने से हमें यह पहचानने में मदद मिलती है कि ये पृथ्वी के भीतर होने वाली गतिशील प्रक्रियाओं से प्रेरित प्राकृतिक घटनाएं हैं।इन कारणों का अध्ययन करके, वैज्ञानिक भूकंप की भविष्यवाणी और तैयारियों में सुधार कर सकते हैं, अंततः इन शक्तिशाली प्राकृतिक घटनाओं के प्रभाव को कम करने की दिशा में काम कर सकते हैं।
(FAQs)
भूकंप(bhukamp) से संबंधित प्रामाणिक प्रश्नों के लिए निम्नलिखित जवाब दिए गए हैं।
Q.भूकंप(bhukamp) के कारण क्या होते हैं?
Ans.-भूकंप(bhukamp) के कारण तकनीकी और गैर-तकनीकी दोनों हो सकते हैं। तकनीकी कारणों में Elastic Rebound Theory,Plate tectonic theories,Intraplate earthquake earthquake सकते हैं। भूकंप के गैर-तकनीकी कारण भूकंप का कारण भूकंप क्षेत्र की लगभग सामान्य प्राकृतिक तटस्थता से संबंधित हो सकता है।
Q.भूकंप(bhukamp) के प्रभाव क्या होते हैं?
Ans.-भूकंप(bhukamp) के प्रभाव में जमीन का हिलना, इमारतों, संरचनाओं और संपत्ति के क्षतिग्रस्त होने की संभावना होती है। यह विभिन्न प्रभावों की एक श्रृंखला पैदा कर सकता है जैसे कि ध्वनि, धरातली, सेल स्थानांतरण और भूखंड में दरारें।
Q. भूकंप(bhukamp) के बाद क्या करें?
Ans.-भूकंप (bhukamp)के बाद निम्नलिखित उपायों का पालन करें:
- सुरक्षित क्षेत्र में सुरक्षित स्थान की तलाश करें और वहां रहें।
- आवास के भीतर या निकटतम विशेषज्ञ के साथ सुरक्षित स्थान की तलाश करें।
- खाद्य, पानी और औषधि के साथ संपर्क करने के लिए अपने आप को तैयार करें।
- बाहरी आवाजों, दरारों और अन्य आपदा संकेतों के लिए सतर्क रहें।
- स्थानीय अधिकारियों और विशेषज्ञों के दिए गए निर्देशों का पालन करें।
Q.भूकंप से पहले क्या चेक करें?
Ans.-भूकंप से पहले निम्नलिखित तैयारियाँ करें:
- अपने परिवार को जानतें हुए भूकंप सुरक्षा योजना बनाएं ।
- अपने आसपास के भूकंप प्रतिक्रिया प्रणाली को समझें और उनके लिए तैयार रहें।
- जो गजह भुकमप से सुरक्षित है उनको पहचान करें जहां आप भूकंप के समय जा सकते हैं और जहां आप सुरक्षित रह सकते हैं।
- घर और वाहनों की सुरक्षा के लिए आवश्यक कदम उठाएं, जैसे गेज या मोटर बंद करना और नियमित रूप से जांच करना।
- एक आपदा किट तैयार करें जिसमें पानी, खाद्य, चादर, फ्लैशलाइट, पहियों के साथ बैटरी और महत्वपूर्ण दस्तावेज़ शामिल हों
Q.भूकंप से संबंधित जानकारी कहाँ से प्राप्त करें?
Ans.-भूकंप से संबंधित जानकारी प्राप्त करने के लिए निम्नलिखित स्रोतों का उपयोग करें:
- स्थानीय और राष्ट्रीय सरकारी वेबसाइट्स और अधिकारियों से जानकारी प्राप्त करें।
- भूकंप संगठनों और आपदा प्रबंधन संगठनों के वेबसाइट्स पर जांचें।
- भूकंप संबंधित पुस्तकों, आर्टिकल्स और वीडियो को देखें जो जानकारी प्रदान कर सकते हैं।
- स्थानीय आपदा प्रबंधन अभियांत्रिकों और विशेषज्ञों से सलाह लें।
Q.भूकंप से बचने के लिए कौन-कौन से उपाय किए जा सकते हैं?
Ans.-भूकंप से बचने के लिए निम्नलिखित उपायों को अपनाएं:
- सुरक्षित स्थान चुनें, जैसे कि खुद को छत के नीचे, मेज के नीचे, या ठीक सामने वाले कमरे के पास रखें।
- इमारतों, छतों या मैदानी इलाकों के पास सुरक्षित स्थानों की तलाश करें जहाँ आप भूकंप के दौरान जा सकें।
- खुद को कवर करने वाली सुरक्षा तंत्रों का उपयोग करें, जैसे कि डेस्क के नीचे बैठकर आप खुद को कवर कर सकते हैं।
- भूकंप सुरक्षा योजनाओं और अभ्यासों में प्रशिक्षण लें ताकि आप उचित प्रक्रियाओं को जान सकें और उन्हें अपनाएं।
Q.भूकंप के बाद क्या करें?
Ans.-भूकंप के बाद निम्नलिखित कदम उठाएं:
- खुद को और अपने परिवार को सुरक्षित स्थान पर ले जाएं।
- अपने आसपास के लोगों की सुरक्षा का ध्यान रखें और आवश्यक मदद प्रदान करें।
- भूकंप क्षेत्र में आपदा प्रबंधन अधिकारियों के दिए गए निर्देशों का पालन करें।
Q.भूकंप से संबंधित सुरक्षा उपकरण कौन-कौन से होते हैं?
Ans.-भूकंप से संबंधित सुरक्षा उपकरणों में निम्नलिखित शामिल हो सकते हैं
- भूकंप संचार उपकरण: वायरलेस रेडियो, मोबाइल फोन, रेडियो प्रेषक आदि।
- प्राथमिक चिकित्सा उपकरण: प्राथमिक चिकित्सा बैग, सुरक्षा किट, मेडिकल सामग्री।
- सुरक्षा सामग्री: सुरक्षा बेल्ट, हेलमेट, प्राथमिक सुरक्षा सामग्री जैसे अपारदर्शी गले लटकने वाला जैकेट, थर्मल ब्लैंकेट आदि।
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